नरीमन ने जेरेन को बुला कर खिड़की से बाहर सड़क के उस पार देखने को कहा और बोली- "देखो तो उस बेरहम को।" जेरेन ने देखा, सामने एक किशोरवय लड़का मिट्टी में गिरे पड़े एक छोटे बकरे पर एक नुकीले पत्थर से बार-बार प्रहार कर रहा था। बकरे का जिस्म जगह-जगह से कट-फट गया था। जेरेन ने ज़ोर से आवाज़ लगा कर उस लड़के को फटकारा- "अबे, क्यों इस बेरहमी से मार रहा है उसे? देख क्या हालत हो गई है उसकी? मरने वाला है वह, छोड़ उसे।", कह कर जेरेन नीचे उतर कर उनके पास गया। "यह बकरा उस चबूतरे पर बनी देवता की मूर्ति के पास जा कर रोज़ गन्दगी करता है। आज पकड़ में आया है, खबर ले ली है मैंने इसकी।" -लड़का यह कह कर वहाँ से चला गया। इसी बीच वहाँ आ गई नरीमन से जेरेन ने कहा- "नरीमन, देखा तुमने उस बेवकूफ को! यह मासूम जानवर क्या यह समझता है कि गन्दगी कहाँ करे, कहाँ न करे।" ... और जेरेन व नरीमन उस बकरे को गोद में उठा कर घर ले आये। जेरेन ने उसके घावों से मिट्टी हटा कर, अच्छी तरह धो-पोंछ कर, उसे प्यार से सहलाया व कोने में रखी टेबल पर लिटा दिया। किचन से बड़ा चाकू ले कर लौट रही नरीमन जेरेन से ...